भारत के पटसन उद्योग के सम्मुख किन्हीं दो प्रमुख चुनौतियों को स्पष्ट कीजिए। राष्ट्रिय पटसन नीति के किन्हीं तीन उद्देश्यों की व्याख्या कीजिए।
गाँधी जी के विचारों और 'स्वराज' की अवधारणा के बारे में मजदूरों की समझ -
i. बागानी मजदूरों के लिए आजादी का महत्त्व था कि वे उन चारदीवारियों से जब चाहे आ जा सकते हैं जिनमें उनको बंद करके रखा गया था।
ii. वे अपने गावों से संपर्क रख पाएंगे।
iii. बागानों में काम करने वाले मजदूरों को बिना इजाजत के बागान से बाहर जाने की छोट नहीं थी। उन्हें इजाजत कभी कभी मिलती थी।
iv. जब उन्होंने असहयोग आंदोलन के विषय में सुना तो हजारों मजदूर अपने अधिकारियों की अवहेलना करने लगे। उन्होंने बागान छोड़ दिए और अपने घरों को चल दिए।
v. उन्हें लगता था कि गाँधी राज आ रहा है। इसलिए अब तो हरेक को अपने गांव में जमीन मिल जाएगी।
दबाव समूह और आंदोलन; राजनीतिक को किस प्रकार प्रभावित करते हैं? उदाहरणों सहित स्पष्ट कीजिए।
सन 1815 में 'वियना सम्मेलन' की मेजबानी किसने की? 'वियना संधि' के द्वारा किए गये प्रमुख परिवर्तनों का विश्लेषण कीजिए।
वियतनाम में साम्राज्यवाद विरोधी भावनाओं को जाग्रत करने में 'होआ-हाओ' आंदोलन की भूमिका का विश्लेषण कीजिए।
नागरिकों की गरिमा और आजादी को सुरक्षित रखने के लिए लोकतंत्र अति महत्त्वपूर्ण है। तर्क देकर कथन की पुष्टि कीजिए।